विश्व का सबसे ऊंचा “रामायण मंदिर” 125 एकड़ भूमि पर बनेगा, ऊंचाई होगी 270 फीट
AJ डेस्क: पूर्वी चंपारण जिले के केसरिया प्रखंड स्थित कैथवलिया में विश्व का सबसे ऊंचा विराट रामायण मंदिर का निर्माण होना है। खास बात यह है कि तीन मई 2022 से इसका काम शुरू होने जा रहा है। निर्माण कार्य की शुरुआत कराने के लिए धार्मिक न्यास बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष आचार्य किशोर कुणाल केसरिया में कई दिनों से हैं। बुधवार को वे निर्माण स्थल के निरीक्षण के लिए कैथवलिया गांव पहुंचे थे। यहां उन्होंने सारी चीजें देखीं।
मंदिर निर्माण को लेकर दिल्ली और ओडिशा सहित आधा दर्जन राज्यों से आधुनिक मशीनें मंगाई जा रही हैं। मंदिर का निर्माण कार्य पूर्वी चंपारण जिले के केसरिया चकिया रोड स्थित कैथवलिया में शुरू होगा। विराट रामायण मंदिर का प्रोजेक्ट 500 करोड़ का है। मंदिर निर्माण के लिए 125 एकड़ जमीन की जरूरत है। प्रस्तावित स्थल पर 100 एकड़ जमीन का अधिग्रहण हो चुका है।
इस बाबत महावीर मंदिर न्यास, पटना के सचिव आचार्य किशोर कुणाल ने मीडिया को जानकारी दी। यहां पहुंचे किशोर कुणाल ने कहा कि इस मंदिर में रामदरबार और विभिन्न देवी-देवताओं की मूर्तियों के अलावा विशाल शिवलिंग भी स्थापित होगा। यह विश्व का सबसे बड़ा शिवलिंग होगा। इसकी ऊंचाई और गोलाई 33-33 फीट होगी। मंदिर निर्माण कार्य को लेकर आचार्य कुणाल ने यहां एक बैठक भी की। इसमें निर्माण कार्य से जुड़े मुद्दों पर चर्चा हुई।
आचार्य ने कहा कि अब कहीं कोई समस्या नहीं है। नए स्ट्रक्चरल डिजाइन वाले इस मंदिर की आयु नए संसद भवन की तरह कम से कम 250 वर्ष की होगी। मंदिर परिसर में एक जलाशय का भी निर्माण होगा। इसकी लंबाई 800 फीट व चौडाई 400 फीट होगी। इसे गंगा सागर के नाम से जाना जाएगा। मंदिर निर्माण के लिए दिल्ली, ओडिशा सहित अन्य राज्यों से आधुनिक मशीनें मंगाई जा रही हैं। इससे निर्माण कार्य में काफी सहयोग मिलेगा। निर्माण के लिए ढाई साल की अवधि तय की गई है।
मंदिर निर्माण स्थल कैथवलिया विश्व प्रसिद्ध केसरिया स्तूप से करीब दस किमी की दूरी पर है। खास बात यह है कि यहां से राम-जानकी पथ भी गुजरेगा। इसकी स्वीकृति केंद्र सरकार ने दे दी है। संबंधित सर्वे कार्य भी प्रगति पर है। यह सड़क अयोध्या को जनकपुर से सीधे जोड़ेगी।