ED का साइड इफेक्ट : तीन फैक्ट्री में रेड, सैकड़ों टन कोयला जब्त, एक गिरफ्तार
AJ डेस्क: कोयला की लूट के तौर तरीके दशकों से चले आ रहे हैं। इसके लिए अजब गजब का खेल चलता रहा है। अब ईडी की एंट्री के बाद कोयला तस्करों के घालमेल में कुछ दरार तो आई है, लेकिन काले कोयले के कारोबार से आने वाले पैसा का मोह छूट नहीं रहा है।
वैसे हजारीबाग में सॉफ्ट इंडस्ट्री के नाम पर लिंकेज कोयला और मझोले और छोटे उद्यम के नाम रैयती दर वाली आवंटित कोयले का खेल दशकों से चला आ रहा है। फैक्ट्री चले न चले आवंटन मिलता है और प्रभाव ऐसा कि आवंटन रुकने पर बड़े-बड़े कोल सिंडिकेट के लोग आवंटन या फिर लिंकेज का कोयला ऑक्शन पर कंपनी के नाम ले ले रहे हैं और उस कोयले की आड़ में लाखो टन चोरी का कोयला कोयला मंडी में खफा दे रहे हैं।

अब ऐसी कंपनियों पर जिला प्रशासन की नजर है। जिला प्रशासन हजारीबाग की टीम के द्वारा सदर प्रखंड के डेमोटाड स्थित 3 फैक्ट्रियों में औचक छापेमारी को अंजाम दिया है। जिसमें जिला प्रशासन के एसडीओ विद्या भूषण कुमार, डीएमओ अजीत कुमार डीएसओ अरविंद कुमार एवं विभिन्न लोग शामिल थे। इस दौरान सुपर हार्ड कोक फैक्ट्री एवं दो अन्य फैक्ट्री में छापेमारी की गई। सुपर हार्ड कोक फैक्ट्री को बंद पाया गया जहां से सैकड़ों टन कोयले की बरामदगी हुई है। वहां से एक ट्रक में लोड कोयला भी पुलिस ने जब्त किया है। पुलिस ने इस मामले में सुपर कोक फैक्ट्री मालिक एके सिंह को भी गिरफ्तार कर लिया है।
बता दें कि जबसे हजारीबाग में ईडी की दबिश बढ़ी है जिला प्रशासन भी काफी सतर्क हो गया है। गिरफ्तार किए गए फैक्ट्री मालिक ए के सिंह राज्य के जाने-माने कोयला व्यवसाई हैं। यह भी कहा जाता है कि उनके पास कई ट्रक और आधे दर्जन से अधिक फैक्ट्रीज भी है। डेमोटांड़ कोक फैक्ट्री में जिला प्रशासन ने छापेमारी की है। छापेमारी करने के दौरान सुपर कोल फैक्ट्री को प्रशासन ने सील कर दिया है। अभी इस पूरे मामले पर हजारीबाग जिला प्रशासन की पूरी टीम कुछ भी बोलने से बच रही है।
